एक बार मेरी पत्नी रिया को किसी जरूरी काम से दिल्ली जाना पड़ा। तो मेरे खाने-पीने का काम वो अपनी एक सहेली शालू के ज़िम्मे लगा कर चली गई। शालू बहुत ही खूबसूरत थी। उसके 32″ साइज के बूब्स, मोटे-मोटे चूतड़ को मटका कर चलना, गोरा रंग, मोटी-मोटी आंखे, भरा हुआ शरीर था उसका। जब भी मैं उसे देखता मन करता था उसे अभी चोद दूं। उसके भी मन में मेरे लिया कुछ चल रहा था। वो भी मुझसे चुदने की चाहत रखती थी, उसकी हरकतों से पता चल जाता था।
जिस दिन रिया दिल्ली गई, वो शाम को मेरे घर खाना लेकर आ गई। मैं ऑफिस से आ गया था, और एक शॉर्ट और टी-शर्ट डाल कर बैठा था। रिया ने मुझे बोल दिया था कि शालू मेरा खाना लेकर आएगी।
वो मेरे घर आई तो उसने एक पिंक कलर का नाइट सूट पहना हुआ था। उसका बेहद खूबसूरत सा चेहरा देख कर मेरा मन चहक उठा। वो मेरे पास आकर बैठ गई, और मेरी जांघों पर हाथ मार कर बोली: और कैसे हो जानू?
मैं उसकी इस हरकत से एक-दम चौंक गया।
मैं बोला: ठीक हूं जानेमन, और तुमको देख कर तो मेरा रोम-रोम खिल जाता है।
वो बोली: आज पहली बार तुमसे अकेले में मिलने का मौका मिला है। रिया जब भी तुम्हारे बारे में बात करती है, मेरा मन मचल जाता है।
मैं बोला: ऐसा क्या बोलती है मेरे बारे में?
वो बोली: सब कुछ जो तुम मियां-बीवी के बीच में होता है।
मैं बोला: हमारे बीच तो कभी कोई लड़ाई-झगड़ा नहीं होता।
वो बोली: पागल लड़ाई-झगड़ा नहीं, तुम्हारे प्यार के बारे में बिस्तर पर खेले जाने वाले खेल के बारे में।
मैं बोला: अच्छा ऐसा क्या बता दिया, जिससे तुम्हारा मन मचल जाता है?
वो बोली: यार जन जो तुम रिया के साथ खेल खेलते हो वहीं मुझे भी तुम्हारे साथ खेलना है। मैं बहुत समय से प्यासी हूं। आज मौका भी है, और मैं तैयार भी हूं।
मैं बोला: तुम्हारी तैयारी तो साफ-साफ झलक रही है। आज तुम्हारी नियत बिलकुल ठीक नहीं लग रही है। आज मेरा कांड करके ही छोड़ोगी।
वो बोली: सच में अरुण, तुम हो ही गजब के। मन कर रहा है आज तुम्हे खा जाऊं।
उसने ये बोलते ही मेरे होठों पर अपने होंठ टिका दिए, और मुझे चूसने लगी। एक हाथ से मेरे लंड को शॉर्ट्स के ऊपर से ही रगड़ने लगी। वो एक-दम पागल हो गई थी। वो अपने एक हाथ से मेरे मम्मे रगड़ने लगी। मैंने अपनी शॉर्ट्स को निकाल दिया, और लंड को उसके हाथ में देकर उसे चूसने के लिए बोला।
वो बोली: आज मैं इसे चूस-चूस कर ही पहले उसका रस पियूंगी। मुझे ये पता है रिया चूसती नहीं है।
उसने झट से अपना लोवर उतार दिया, और मैंने उसके नाइट सूट का टॉप ऊपर उठा कर निकाल दिया। अब वो बिल्कुल नंगी मेरे सामने थी। उसका फिगर देख कर मेरा मन मचल उठा। मैंने उसके बूब्स को भींचना और रगड़ना शुरू किया। तो वो एक-दम पागल हो गई।
वो मेरे नीचे आकर बैठ गई और मेरे लंड को मुंह में लेकर चूसना शुरू कर दिया। क्या मस्त अंदाज से वो मेरे लंड को चूस रही थी किसी पोर्नस्टार की तरह।
मैं बोला: तुम तो गजब की चुदक्कड़ लग रही हो।
वो बोली: मैं रोज ब्ल्यू फिल्म देखती हूं। और तुम्हारे नाम की उंगली से अपनी चुदाई कर लेती हूं। लेकिन जब से मैंने तुम्हारे बारे में रिया ने बताया कि तुम अकेले रहने वाले हो, मैं तभी से तैयारी में लग गई, और अभी नहा धो कर चली आई।
मैंने उसके बाल पकड़ कर उसके मुंह को फटाफट चोदना शुरू कर दिया। करीब पांच मिनट में मेरा वीर्य निकल गया। उसने पूरा मॉल चट कर लिया, और अपनी जीभ से लंड को चाट लिया। ये करने के बाद भी वो शांत नहीं हुई। वो अपनी क्लीन शेव की हुई चूत को मेरे लंड पर रगड़ने लगी। फिर वो अपने बूब्स को मेरी छाती पर रगड़ने लगी और मेरे मम्मे चूसने लगी। उसके ऐसा करने से मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया।
अब मेरे से भी उसकी चूत को मारे बिना नहीं रहा जा रहा था। तभी मैं उसे उठा कर अपने बेडरूम में ले गया, और उसे अपने बेड पर लिटा दिया। उसने पता नहीं कैसा परफ्यूम लगा रखा था, बड़ी मादक से खुशबू आ रही थी।
मैंने उसे लिटा कर, उसकी दोनो टांगे खोल कर जब नीचे आया, तो क्या गजब की चूत थी। उसकी चूत को देख कर मैं पागल हो गया और उसे चूमने लगा। जैसे ही मैंने उसकी क्लिटरिस को जीभ से छुआ, शालू एक-दम मधमस्त हो गई, और अपनी चूत को बार-बार ऊपर उठाने लगी। उसने मेरे मुंह को हाथ से चूत पर दबा लिया।
मैं भी उसकी नरम और गुलाबी चूत में अपनी जीभ को फिराने लगा। वो आह उह की आवाजें निकालने लगी।
वो बोली: मेरे राजा अब आ भी जाओ मुझे जी भर कर चोद दो।
वो एक बार झड़ गई थी, जिससे उसकी चूत से बड़ी मादक सी खुशबू आने लगी, और चूत एक-दम चिकनी हो गई थी। मैंने खड़े हो कर उसकी दोनों टांगो को फैला लिया, और ऊपर उठा कर उसकी चूत पर लंड को सेट करके एक जोरदार धक्का लगा दिया। वो चीख पड़ी पर मैंने भी उस पर ध्यान नहीं दिया, और जोर-जोर से उसे चोदने लगा।
वो बोली: कुछ तो रहम करो मुझ पर। आज पूरी तरह से फाड़ डालोगे क्या?
मैं बोला: साली चुदक्कड़, ज्यादा नाटक मत कर। गपागप चुद ले पहले।
मैं उसे चोदे जा रहा था, और उसके बूब्स को भी मैंने रगड़-रगड़ कर लाल कर दिया था। मैं करीब पंद्रह मिनट तक उसे चोदता रहा, और वो उठा-उठा कर चुदाती रही। तभी जैसे ही मेरा निकलने को हुआ, मैंने लंड चूत से बाहर निकाल कर उसके मुंह में दे दिया, और पूरा वीर्य उसके मुंह में छोड़ दिया। वो भी पूरा पी गई।
हम दोनों निढाल हो कर नंगे ही एक-दूसरे से चिपक कर लेट गए। वो मेरे सर में हाथ फेरते हुए मुझे चूमे जा रही थी।
वो बोली: अरुण कब से मेरी तमन्ना थी कि मैं तुम से चुद सकूं, वो आज पूरी हुई है। अब रिया के आने तक हर रोज तुम मुझे ऐसे ही चोदोगे।
ये बोल कर वो मुझ से और कड़ा चिपट गई।
वो बोला: शालू मेरे भी मन में तुम्हें चोदने की इच्छा थी, जो आज पूरी हुई। और तुम चिंता मत करो, मैं रिया के आने तक रोज, और बाद में भी चोदूंगा।
दूसरे दिन मैं दो कंडोम के पैकेट ले आया और उसे सभी स्टाइल में रिया के आने तक करीब दस दिनों तक रोज चोदा। अब जब भी मौका मिलता है, मैं उसे चोदने उसी के घर चला जाता हूं। वो बहुत खुश रहने लगी।
अब भी जब वो बोलती है मैं उसे जी भर कर चोद लेता हूं। ये कहानी मैं उसी की परमिशन लेकर लिख रहा हूं। तो दोस्तों मेरी ये कहानी कैसी लगी बताना जरूर।